लखनऊ । प्रमुख सरकारी अस्पतालों में बच्चे ही नहीं बड़े भी चपेट में आ गए। बलरामपुर अस्पताल की इमरजेंसी, बाल वार्ड आैर जनरल वार्ड मिलकर एक दर्जन से अधिक लोग कोल्ड डायरिया से पीड़ित होकर भर्ती हुए। इसी प्रकार सिविल अस्पताल के बाल वार्ड में डायरिया वार्ड में भर्ती संख्या 90 प्रतिशत पहुँच गयी। यहां ओपीडी में उस्त-दस्त से पीड़ितो की संख्या पचास से अधिक रही। इसी प्रकार गोमतीनगर स्थित डा. राम मनोहर लोहिया संयुक्त चिकित्साल की ओपीडी का हाल रहा।
पानी का सेवन कम करना भी एक बड़ा कारण माना जाता है –
चिकित्सा अधीक्षक डा. एमएल भार्गव ने बताया कि एकाएक गर्मी व एकाएक ठण्ड लगाना शरीर को हानि पहुंचाता है। इसके लिए कारण पाचन शक्ति कमजोर पड़ती है आैर लोग कोल्ड डायरिया का शिकार होते हैं। पानी का सेवन कम करना भी एक बड़ा कारण माना जाता है। डाक्टर सलाह देते हैं कि ऐसे मौसम में खानपान ख्याल रहें। तरल पदार्थ की मात्रा अधिक होनी चाहिए। उल्टी-दस्त होने पर शरीर में पानी की कमी का ध्यान रखें।
मिर्च-मसाले, जंक फूड, मैदे से बनी चीजों का सेवन कम मात्रा में करना चाहिए क्योंकि ऐसे खाद्य पदार्थ पाचन शक्ति कमजोर करते हैं, पेट में गैस बनाते हैं। थोड़ी-थोड़ी मात्रा में दो से ढाई घंटे के अंतर पर खाना चाहिए। बहुत गरम या बहुत ठंडा नहीं खाना चाहिए क्योंकि इसका भी असर पाचन शक्ति पर पड़ता है।