लखनऊ। किंग जार्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय के पीडियाट्रिक आर्थोपैडिक्स विभाग को स्थापित करने के लिए शासन ने हरी झंडी दे दी है। स्थापना के बाद केजीएमयू देश का पहला सरकारी संस्थान होगा, जहां पर सिर्फ बच्चों के उच्चस्तरीय हड्डी की विभिन्न बीमारियों के विशेषज्ञ व संसाधन मौजूद होंगे। पीडियाट्रिक ओर्थोपेडिक्स के प्रमुख प्रो. अजय कुमार ने बीते साल नवंबर में ही एमसीआई से इस विभाग को खोलने के लिए मंज़ूरी मिल चुकी है। अब शासन ने विभाग के लिए फैकल्टी और रेजिडेंट डॉक्टरों के पदों पर भर्ती के लिए स्वीकृति मिल चुकी है। यह विभाग केजीएमयू के शताब्दी फेज-2 में स्थापित किया जाना है।
पीडियाट्रिक आर्थोपेडिक्स के हेड प्रो. अजय कुमार ने बताया कि बुधवार को शासन ने विभाग के पद को स्वीकृत करते हुए जीओ जारी कर दिया है। ऐसे में अब जल्द ही विभाग में पदों पर भर्ती के लिए शासन ने पांच फैकल्टी और तीन रेजीडेंट के पद स्वीकृत कर दिये हैं। इन पदों पर जल्द ही भर्ती करने की प्रक्रिया शुरु कर दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि इस विभाग की ओपीडी अभी भी चल रही है, जिसमें बच्चों का इलाज किया जा रहा है।
प्रो. अजय ने बताया कि इस प्रकार केजीएमयू में देश का पहला सुपर स्पेशलिस्ट संस्थान होगा, जिसमें एमसीआई से मान्यता आैर मानक के अनुसार पीडियाट्रिक ओर्थोपेडिक्स विभाग शुरू होगा। यहां एमसीएच के कोर्स की भी शुरूआत होगी। इस विभाग में बच्चों की हड्डियों से जुडी गंभीर बीमारियों को ठीक किया जा सकेगा।
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