लखनऊ – विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने प्रधानमंत्री मोदी सरकार के महत्वाकांक्षी स्वच्छ भारत ग्रामीण मिशन की तारीफ की है। डब्ल्यू एचओ का कहना है कि इस कार्यक्रम ने ग्रामीण इलाकों में स्वच्छता को बढावा देने और इससे होने वाले रोगों की रोकथाम में आरंभ से ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
डब्ल्यूएचओ ने स्वास्थ्य पर गंदगी के दुष्प्रभाव को लेकर पेयजल तथा स्वच्छता मंत्रालय के लिए तैयार की गयी अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि इस योजना ने आरंभ से ही गंदगी जनित बीमारियों के कारण होने वाली मौत से निजात दिलाने तथा स्वच्छता को बढावा देने में अहम भूमिका निभाई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि गत दो अगस्त तक ग्रामीण क्षेाों में स्वच्छता को बढाने में इस कार्यक्रम ने 89.07 प्रतिशत की उल्लेखनीय उपलब्धि हासिल की है। शुक्रवार को जारी डब्ल्यूएचओ की इस रिपोर्ट में कहा गया है कि योजना के तहत 19 राज्यों के 4.9 लाख गांवों को खुले में शौच मुक्त घोषित किया गया है।
कार्यक्रम की तारीफ करते हुए रिपोर्ट में कहा गया है कि इस महत्वाकांक्षी योजना के लागू होने से हर साल तीन लाख से ज्यादा लोगों की जान बचने का अनुमान लगाया गया है। डब्ल्यूएचओ के अध्ययन में कहा गया है कि योजना के लागू होने से पहले गंदगी के कारण हर साल 19.90 करोड़ लोग उल्टी दस्त जैसी बीमारियों की चपेट में आ जाते थे।
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