लखनऊ । आयुष विभाग में पहली बार तैनात 1519 चिकित्साधिकारी लाभांवित हुए। 1379 चिकित्साधिकारियों का स्थायीकरण, 105 चिकित्साधिकारियों को एसीपी का लाभ आैर 35 चिकित्साधिकारियों की पद्दोन्नति की गयी। अपर मुख्य सचिव चिकित्सा शिक्षा डा. अनिता भटनागर जैन के अनुसार विभिन्न पद्धतियों में संबंधित चिकित्साधिकारियों का मनोबल ऊंचा रहे, इसलिए आवश्यक है कि उनका स्थायीकरण, पद्दोन्नति आदि के प्रकरणों का निस्तारण समयबद्ध रूप से किया जाए।
प्रदेश सरकार ने चिकित्सा शिक्षा एवं आयुष विभाग के तहत प्रदेश के तेरह राजकीय मेडिकल कालेजों के 1379 एलोपैथी शिक्षकों, आयुर्वेदिक,यूनानी चिकित्सा अधिकारियों को स्थायी कर दिया गया है। इसके बाद चिकित्सा शिक्षकों में खुशी की लहर दौड़ गयी। पीएमएस व अन्य डाक्टरों का कहना है कि स्थायी करने से डाक्टरों की कमी दूर हुई आैर नये डाक्टरों को मौका मिलेगा।
राज्य की अपर मुख्य सचिव चिकित्सा शिक्षा एवं आयुष डा. अनिता भटनागर जैन ने आज प्रदेश में पहली बार 1379 चिकित्सा शिक्षकों, आयुर्वेदिक एवं यूनानी चिकित्साधिकारियों के स्थायीकरण आदेश बुधवार को जारी कर किये हैं। जानकारी के अनुसार इसमें 418 एलोपैथिक चिकित्सा शिक्षक, 866 आयुर्वेदिक चिकित्साधिकारी, 70 यूनानी चिकित्साधिकारी, 25 यूनानी चिकित्सा शिक्षक सम्मिलित है। बताया जाता है कि स्थायीकरण में 1980 से नियुक्त कुछ चिकित्साधिकारी भी शामिल हैं।
अपर मुख्य सचिव ने कहा कि प्रदेश के राजकीय यूनानी मेडिकल कालेजों में कार्यरत दो शिक्षकों एवं 11 यूनानी चिकित्साधिकारियों, कुल 13 अधिकारियों को इस व्यवस्था के अनुरूप एसीपी का लाभ मिला है। वर्ष 2008 में सेवानिवृत्त 92 होम्योपैथिक चिकित्साधिकारियों को भी ए सी पी का लाभ अनुमन्य किया गया एवं बड़ी संख्या में होम्योपैथिक चिकित्साधिकारियों को ए सी पी दिये जाने की कार्रवाई की जा रही है।
इससे पहली बार प्रदेश के 13 मेडिकल कालेज, कानपुर, आगरा, इलाहाबाद, मेरठ, गोरखपुर, झांसी, अम्बेडकरनगर, आजमगढ़, जालौन, कन्नौज, बांदा, सहारनपुर, बंदायू एवं 2 ह्मदय रोग संस्थान व जेके कैंसर संस्थान, कानपुर (एलोपैथ), 2 राजकीय यूनानी मेडिकल कालेजों के यूनानी चिकित्सा शिक्षकों, यूनानी चिकित्साधिकारियों एवं आयुर्वेदिक चिकित्साधिकारियों को पहली बार स्थायीकरण किया गया।
उन्होंने बताया कि 1379 चिकित्साधिकारियों का स्थायीकरण के अलावा 105 चिकित्साधिकारियों को एसीपी का लाभ व 35 चिकित्साधिकारियों की पदोन्नति देते हुए कुल 1519 चिकित्साधिकारी लाभान्वित किये गये हैं।