न्यूज। आयुष्मान भारत’प्रधानमंत्री जन आरोज्ञ योजना”को गरीबी का दंश झेल रहे लोगों के लिये वरदान बताते हुये उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के महत्वाकांक्षी प्रयास का सुखद परिणाम यह होगा कि इलाज के लिये अब किसी गरीब को इलाज के लिये अपना घरबार और खेत खलिहान गिरवी नहीं रखना पड़ेगा। बीआरडी मेडिकल कालेज में योजना का शुभारम्भ करते हुये श्री योगी ने कहा कि भारत के इतिहास में पहली बार प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के अन्तर्गत करोड़ों भारतवासियों की स्वास्थ्य सुरक्षा सुनिश्चित होगी और इन्हें गम्भीर बीमारियों के इलाज के लिये मुफ्त चिकित्सा लाभ मिलेगा।
उन्होंने कहा कि अब बीमारी के इलाज के लिए किसी को अपना खेत नही बेचना पड़ेगा, जेवर गिरवी नही रखना पड़ेगा और इलाज के लिए पैसे के लिये भटकना नही पड़ेगा। जब सभी लोग स्वस्थ्य एंव खुशहाल होंगे तभी सशक्त राष्ट्र विकसित होगा। इस अवसर पर उन्होंने पांच लाभार्थी पुनीता, रोहन, राममिलन भारती, कैलाश और उषा देवी को गोल्डेन ई-कार्ड का वितरण किया और आयुष्मान भारत के थीमसांग का विमोचन किया।
उन्होंने कहा कि योजना के अन्तर्गत देश के लगभग 10 करोड़ गरीब परिवारों को रूपये पांच लाख प्रतिवर्ष प्रति परिवार को स्वास्थ्य सुविधा का लाभ दिया जायेगा। इस योजना से देश के लगभग 50 करोड़ लोग लाभान्वित होंगे। योजना के तहत 1.18 करोड़ परिवारों को सामाजिक आर्थिक जनगणना के आधार पर शामिल किया गया है जिससे लगभग छह करोड़ लोगों को योजना का लाभ मिलेगा। राजनीति योगी आयुष्मान दो अंतिम गोरखपुर मुख्यमंत्री ने कहा कि लोक कल्याण की यह बड़ी योजना है और इसके तहत बिना भेद भाव को आच्छादित किया जायेगा। मरीज को किसी भी सूचीबद्ध चिकित्सालयों (निजी एंव सरकारी) में निशुल्क चिकित्सा सुविधा प्रदान की जायेगी।
पुरानी एंव नई गंभीर बीमारियोें जैसे कैंसर, ह्मदय रोग आदि बीमारियों का इलाज सम्भव होगा। इस योजना की मानीटरिंग राज्य सरकार स्वंय करेगी। उन्होंने कहा कि इंसेफलाइटिस बीमारी को नियंत्रित करने के लिए वैक्सीनेशन अभियान को पल्स पोलियो की तर्ज पर वृहद रूप से कराया गया और उसका अच्छा प्रभावी भी पड़ा तथा इस बीमारी को नियंाण पाया गया। उन्होंने कहा कि यदि स्वच्छता, शुद्ध पेयजल एंव वैक्सीनेशन के प्रति लोगों में जागरूकता लाई जाये तो इंसेफलाइटिस ही नही बल्कि सभी विषाणुजनित बीमारियों को समाप्त किया जा सकता हैै लेकिन आवश्यकता जन सहभागिता एंव जन जागरूकता की है और इस अभियान की सफलता में सभी को आगे आना होगा।
मुख्यमंत्री ने बताया कि गोरखपुर बी.आर.डी. मेडिकल कालेज में रीजनल रिसर्च सेन्टर की व्यवस्था की जा रही है, एम्स का निर्माण किया जा रहा है तथा अगले महीने आठ नये सुपर स्पेशिलिटी ब्लाक का शुभारम्भ होगा और उन्होंने यह
भी कहा कि एम्स के तैयार होने से पहले बी.आर.डी. मेडिकल कालेज मिनी एम्स के रूप में कार्य करेगा।
उन्होंने कहा कि बी.आर.डी. मेडिकल कालेज में 108 बेड का रैन बसेरा भी समर्पित किया गया है। यहां की सड़कों
को ठीक कराया गया है ताकि मरीज, उनके अटेण्डेन्ट को आने जाने में कोई असुविधा न हो सके। यहां पर 500 बेड का बाल चिकित्सा संस्थान भी बनाया जा रहा है, सी.आर.सी. की स्थापना का कार्य भी तेजी से प्रारम्भ हो गया है। हर अस्पताल में यह सूची लगाई जाये कि यहां किस किस बीमारी के उपचार होेंगे और सरकार द्वारा बीमारी के इलाज के लिये पैकेज का भी अंकन हो।
इस अवसर पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने बताया कि योजना के तहत प्रदेश में 700 से ऊपर अस्पताल सूचीबद्ध है तथा आगे लगभग दो हजार अस्पतालों को जोड़ा जायेगा इस प्रकार 2500 अस्पतालों को इसके तहत सम्मिलित किया जाना है। इन सूचीबद्ध अस्पतालों में जो पाा मरीज जायेगा बिना इलाज के वापस नही होगा। छोटे छोटे कस्बे में भी आधुनिक अस्पताल खोला जाना प्रस्तावित है। इसके अतिरिक्त 100 जन औषधि केन्द्र सस्ती दवाओं के लिए खोले गये है। गरीब जब स्वस्थ्य होगा तो प्रदेश स्वस्थ्य होगा। स्वास्थ्य सुरक्षा की दिशा में इस योजना को संचालित किया गया है।
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