लखनऊ। सचिवालय में भी कॅरोना के संक्रमण ने पांव पसारने शुरू कर दिए हैं। 100 प्रतिशत अधिकारियों और कर्मचारियों की उपस्तिथि ने इस स्तिथि को और भयावह कर दिया। दूसरी ओर सचिवालय प्रशासन विभाग अड़ा है कि सचिवालय में रोस्टर के हिसाब से उपस्तिथि की ब्यवस्था नहीं होगी। सचिवालय में इस बात को लेकर भयावह की स्तिथि बन गई है। बताते चलें कि चिकित्सा अनुभाग वह अनुभाग है जहाँ डीजी मेडिकल हेल्थ से लेकर सीएमओ तक के सरकारी चिकित्सकों का एस्टेब्लिश मेन्ट का कार्य देखा जाता है।
लाल बहादुर शास्त्री भवन के चिकित्सा अनुभाग 2 के अनुभाग अधिकारी मनोज पांडें, एक समीक्षा अधिकारी सच्चिन नन्द और कप्यूटर सहायक जगदीश यादव के संक्रमित पाए जाने से सचिवालय में अफरा तफरीह का माहौल खड़ा हो गया है। यह सभी लोग लगातार सचिवालय आ रहे थे। इनके संक्रमित होने से सचिवालय में और कितने मामले सामने आएंगे इसका आंकलन तभी हो सकता है जब चिकित्सा विभाग के सभी लोगों का टेस्ट किया जाए। इसी के साथ बाहरी कर्मियों के सचिवालय में प्रवेश पर रोक लगाई जाए।
इन आशंकाओं को देखते हुए ही सचिवालय संघ ने गत 14 जुलाई को अपर मुख्य सचिव सचिवालय प्रशासन और सचिव मुख्य मंत्री से मिलकर एक अपील के माध्यम से कहा था कि सचिवालय के समूह ख में आने वाले समीक्षा अधिकारियों की उपस्तिथि में 50 प्रतिशत का रोस्टर लागू किया जाए। उसके बावजूद इसके सरकारी तंत्र पर ध्यान नहीं दे रहा है।
आरोप है कि जो सचिवालय कर्मी संक्रमित मिल रहे हैं उन सभी को कोई भी सरकारी सुविधा नहीं मिली ,जिससे इन सभी को मजबूरी में अपने अपने वाहन से लोकबंधु अस्पताल में स्वयं भर्ती होने जाना पड़ा। यह जिम्मेदार अधिकारियों और उनके विभाग को लगातार फोन लगाते रहे ,लेकिन किसी ने भी फोन नहीं उठाया। लोकबंधु अस्पताल में भी इन लोगों का कोई पुरसाहाल नहीं है।
सचिवालय संघ के अध्यक्ष यादवेंद्र मिश्र, उपाध्यक्ष मुदस्सिर हुसेन, सचिव ओंकार नाथ तिवारी व् कोषाध्यक्ष गोपी कृष्ण श्रीवास्तव ने एकमत से कहा कि सचिवालय का सीटिंग अरेंजमेंट ऐसा है कि न तो इसमें कोई सोशल डिस्टेंसिंग रह सकती है और यदि कोई व्यक्ति संक्रमित हो तो उससे कोई दूसरा ब्यक्ति संक्रमित होने की संभावना ज्यादा हो जाती है। सचिवालय के अंदर से लेकर बाहर तक भारी संख्या में भीड़ हर समय बनी रहती है। सरकार की इस लापरवाही से सचिवालय कर्मियों के जीवन संकट खड़ा हो गया है। सचिवालय संघ इन मामलों को लेकर कल मुख्य सचिव सहित सभी सम्बंधित अधिकारियों से मिलकर अपना विरोध दर्ज कराएगा।
सचिवालय संघ ने मुख्य मंत्री से अपील की है कि सचिवालय कर्मियों की जीवन रक्षा हेतु कदम उठाते हुए उन्ही विभागों /अनुभागों को खोला जाए ,जिनकी खोले जाने की अपरिहार्यता हो। सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने के लिए अनुभाग स्तर तक 50 प्रतिशत उपस्तिथि का रोस्टर लागू किया जाए।