लखनऊ । पद उच्चीकृत करने के नाम पर बलरामपुर अस्पताल की महिला सुरक्षाकर्मी से 42 हजार रुपए वसूलने के आरोपी सुपरवाइजरों के खिलाफ जांच शुरू हो गई है। पीड़ित सुरक्षाकर्मी ने मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री, अस्पताल के अफसरों से शपथ पत्र पर शिकायत की थी। पीड़िता की शिकायत मिलने पर बलरामपुर की निदेशक डॉ. कविता आर्या ने मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय वरिष्ठ डॉक्टरों की कमेटी गठित कर दी है।
खदरा के शिव नगर निवासी फूलमती शुक्ला ने बलरामपुर अस्पताल में तैनात दो सुपरवाइजरों मुकेश जोशी और गजानन मिश्रा पर 42 हजार रुपए हड़पने का आरोप लगाया है। शपथ पत्र पर फूलमती के लिखित शिकायत करने पर बलरामपुर अस्पताल के अफसरों ने मामले की जांच के लिए कमेटी गठित कर दी है। निदेशक डॉ. कविता आर्या की ओर से वरिष्ठ परामर्शदाता डॉ. एसके पांडेय, डॉ. आरएन मिश्रा और डॉ. एसआर समद्दर को कमेटी में शामिल किया गया है। कमेटी को इस मामले में की जांच जल्द से जल्द करके रिपोर्ट देने को निर्देशित किया है।
यह है मामला
फूलमती शुक्ला के मुताबिक वह वर्ष 2007 से बलरामपुर अस्पताल में सुरक्षाकर्मी पद पर कार्यरत थी। वर्ष 2023 में वंशिका कंपनी का टेंडर होने पर उसके तहत सुरक्षाकर्मी की नौकरी कर रही थी। फूलमती ने आरोप लगाया कि अगस्त 2024 में बलरामपुर में तैनात दोनों सुपरवाइजर मुकेश जोशी और गजानन मिश्रा ने उन्हें बुलाया और सुरक्षाकर्मी से वार्ड आया पद पर पदोन्नति कराने की बात कहते हुए 90 हजार रुपए की मांग की। इतने अधिक रुपए देने पर फूलमती ने असमर्थता जता दी। तब दोनों सुपरवाइजर ने 42 हजार रुपए की मांग की।
इस पर फूलमती ने अपने घरवालों से बातचीत करके आरोपितों को 42 हजार रुपए नकद दे दिए। फूलमती ने आरोप लगाया कि एक माह बाद भी उनको न तो वार्ड आया बनाया गया, न ही उनको बढ़ा हुआ वेतन आया। वेतन सुरक्षाकर्मी पद का ही आया। उन्होंने आरोपित सुपरवाइजरों से नाराजगी जताते हुए रुपए वापस मांगे तो दोनों ने ऑनलाइन पेमेंट करने का आश्वासन दिया, लेकिन 42 हजार रुपया वापस नहीं किया। शिकायत किए जाने की बात पर आरोपियों ने फूलमती को धमकाया।












